PoK में फिर शहबाज सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतरा Gen-Z, युवाओं के आक्रोश से घबराया पाकिस्तान
शहबाज सरकार के खिलाफ भारी गुस्सा
शरीफ प्रशासन पहले से ही राष्ट्रीय आर्थिक संकट और गठबंधन कलह से जूझ रहा है। गृह मंत्री मोहसिन नकवी ने 4 नवंबर को "फीस माफी समिति" की घोषणा की, लेकिन प्रदर्शनकारियों ने इसे चाल बताया। इस बीच 200 से अधिक गिरफ्तारियां हुईं, जिनमें छात्र नेता शामिल हैं। छात्रों ने आंदोलन को दमन का आरोप लगाया। शरीफ की प्रमुख सहयोगी पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) ने आंदोलनकारियों से संवाद की अपील की, लेकिन छात्रों ने कहा कि पीएमएल-एन के कट्टरपंथी "भारतीय एजेंट" का ताना मारते हैं। इसलिए वह वार्ता को तैयार नहीं हुए।
मुजफ्फराबाद की सड़कों पर भारी आक्रोश
जेन-जेड का इस बार का आंदोलन लगातार विराट होता जा रहा है। इस पर भारत के साथ ही साथ अंतरराष्ट्रीय नजरें टिकी हैं। भारत पीओके को अपना क्षेत्र मानता है। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा, "दमन से स्व-निर्धारण की गूंज तेज होती है।" पांचवें दिन की रात होते ही मुजफ्फराबाद की मुख्य सड़कों पर बैरिकेड्स खड़े हैं और विश्वविद्यालय बंद हैं। जेन जेड की डिजिटल चतुराई-लाइव स्ट्रीमिंग और एन्क्रिप्टेड ऐप्स से समन्वय सरकार की पुरानी रणनीति से आगे निकल गई है। क्या यह "उबाल" रियायतों से शांत होगा, या पीओके का अगला स्वायत्तता आंदोलन बन जाएगा? फिलहाल, आंसू गैस के धुएं में युवाओं की आवाजें गूंज रही हैं।
(स्रोत: India TV.in)

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